हेलो स्टूडेंट्स, इस पोस्ट में हम आपको रोजेन मुण्ड अपचयन | स्टीफैन | गाटरमान कॉख | फ्रीडल क्राफ्ट अभिक्रिया के बारे में बता रहे है, इसे अंत तक पढ़े |
एल्डिहाइड बनाने की विधियां :
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रोजेन मुण्ड अपचयन अभिक्रिया:
- जब एल्केनॉयल क्लोराइड का अपचयन Pd तथा BaSO4की उपस्थिति में H2से क्रिया जाता है तो एल्डिहाइड बनते है।
CH3-CO-Cl + H2 → CH3-CHO + HCl
C6H5-CO-Cl + H2 → C6H5-CHO + HCl
स्टीफैन अभिक्रिया :
जब सायनाइड का अपचयन SNCl2 व सांद्र HCl की उपस्थिति में किया जाता है तो एल्डीमीन बनता है इसके जल अपघटन से एल्डिहाइड बनते है।
नोट : यदि सायनाइड की क्रिया DIBAL-H तथा जल अपघटन किया जाता है तो एल्डिहाइड बनते है।
R-CN → R-CHO
DIBAL-H का पूरा नाम व सूत्र:
डाई आइसो ब्यूटिल एलुमिनियम हाइड्राइड
ईटार्ड अभिक्रिया :
जब टालुइन का ऑक्सीकरण क्रोमिल क्लोराइड व जल से किया जाता है तो बेन्जेल्डिहाइड बनता है।
गाटरमान कॉख अभिक्रिया :
जब बेंजीन की क्रिया कार्बन मोनो ऑक्साइड के साथ HCl तथा निर्जल AlCl3 की उपस्थिति में की जाती है तो C6H5-CHO बनता है।
केवल कीटोन बनाने की विधियां :
फ्रीडल क्राफ्ट अभिक्रिया :
जब बेंजीन की क्रिया CH3-COCl or C6H5-COCl से की जाती है तो क्रमशः एसिटोफिनोन व बेंजो फिनॉन बनते है।
- जब डाई सेल्किलकैडमियम की क्रिया एसील क्लोराइड से की जाती है तो कीटोन बनते है।
- एल्किल सायनाइड की क्रिया ग्रिंयार अभिकर्मक से की जाती है तो बने पदार्थ के जल अपघटन से कीटोन बनते है।